सोचिए, आप एक छात्र हैं। आपकी जेब में सीमित पैसे हैं। आपने एक बचत खाता खुलवाया ताकि छात्रवृत्ति या माता-पिता की भेजी रकम सीधे आपके खाते में आ सके। लेकिन एक दिन, किसी जरूरी खर्च के चलते आपका खाता शून्य हो जाता है। अगले महीने पता चलता है कि बैंक ने आपके खाते से ₹200 काट लिए! वजह? न्यूनतम बैलेंस नहीं रखा था।
आपके जैसे लाखों लोग इस परेशानी से जूझ रहे हैं। खासकर छात्र, बेरोज़गार युवा, छोटे व्यापारी और वरिष्ठ नागरिक। हर महीने ₹1000, ₹3000 या ₹5000 का बैलेंस रखना सभी के लिए संभव नहीं। और अगर गलती से कम बैलेंस रह जाए, तो बैंक सीधे दंड लगा देता है।
पर अब एक ऐसी खबर आई है जिसने पूरे बैंकिंग सेक्टर को हिला कर रख दिया है!
क्या अब सच में आप बिना बैलेंस के भी खाता चला सकते हैं?
क्या अब बैंक आपको दंड नहीं लगाएगा?
क्या यह किसी बैंक की चालाकी है या वास्तव में ग्राहकों को राहत?
चलो, इस रहस्य से पर्दा उठाते हैं...
केनरा बैंक ने किया ऐतिहासिक फैसला: बचत खाताधारकों के लिए राहत की सांस
भारत की अग्रणी सरकारी बैंक, केनरा बैंक ने एक ऐसा निर्णय लिया है जो करोड़ों भारतीयों के जीवन को सीधा प्रभावित करेगा। बैंक ने अब सभी प्रकार के बचत खातों पर न्यूनतम बैलेंस की अनिवार्यता पूरी तरह समाप्त कर दी है।
🔓 अब जीरो बैलेंस में भी नहीं लगेगा कोई जुर्माना
अब अगर आपके खाते में ₹0 भी हैं, तब भी बैंक आपसे कोई पेनल्टी या चार्ज नहीं वसूलेगा।
📅 यह नया नियम आज से ही प्रभावी हो गया है
केनरा बैंक ने घोषणा की है कि यह नियम सभी प्रकार के बचत खातों पर लागू होगा:
खाता प्रकार | न्यूनतम बैलेंस की आवश्यकता |
---|---|
सामान्य बचत खाता | ❌ अब नहीं |
सैलरी खाता | ❌ अब नहीं |
NRI सेविंग्स खाता | ❌ अब नहीं |
🔍 पहले क्या था नियम?
अब तक केनरा बैंक सहित ज्यादातर बैंक अपने ग्राहकों से मासिक न्यूनतम बैलेंस की मांग करते थे, जो ₹1000 से ₹5000 तक होता था। यदि यह राशि कम होती, तो ₹10 से ₹500 तक का जुर्माना वसूला जाता।
इसका सबसे ज्यादा असर पड़ता था:
- छात्रों पर
- वृद्ध नागरिकों पर
- कम आय वाले परिवारों पर
- ग्रामीण इलाकों के ग्राहकों पर
✅ इस फैसले से मिलने वाले 5 प्रमुख फायदे
- दंड-मुक्त बैंकिंग – अब खाता शून्य बैलेंस पर भी सक्रिय रहेगा।
- डिजिटल बैंकिंग को बढ़ावा – UPI, मोबाइल बैंकिंग को अधिक लोग अपनाएंगे।
- छात्रों और वरिष्ठ नागरिकों को राहत – अब उन्हें न्यूनतम बैलेंस की चिंता नहीं।
- ग्रामीण भारत को मुख्यधारा में लाना – अब हर व्यक्ति बैंकिंग से जुड़ सकेगा।
- सामाजिक समावेशिता को बढ़ावा – समाज के हाशिए पर खड़े लोगों को मिलेगा सीधा फायदा।
🗣️ केनरा बैंक ने क्या कहा?
"यह पहल हमें दंड-मुक्त सेविंग्स अकाउंट प्रदान करने वाली अग्रणी सार्वजनिक बैंक बनाती है। हम सभी वर्गों के ग्राहकों के लिए सरल और व्यावहारिक बैंकिंग सेवाएं प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।"
💳 दूसरी तरफ क्या कर रही हैं निजी बैंक?
✖️ Kotak Mahindra Bank का उल्टा फैसला
जहां केनरा बैंक राहत दे रही है, वहीं कोटक महिंद्रा बैंक ने अपने क्रेडिट कार्ड पर रिवॉर्ड पॉइंट्स कम कर दिए हैं और ब्याज दरें बढ़ा दी हैं:
कार्ड | रिवॉर्ड प्वाइंट कटौती | ब्याज दर |
---|---|---|
Kotak Royal | ₹0.10 → ₹0.07 | 3.50% → 3.75% |
Kotak 811 | ₹0.25 → ₹0.10 | 3.50% → 3.75% |
Kotak Infinite | ₹1.00 → ₹0.70 | 3.50% → 3.75% |
🎯 किन लोगों को सबसे ज़्यादा फायदा होगा?
- ग्रामीण क्षेत्रों के निवासी
- घर चलाने वाले छोटे व्यापारी
- कॉलेज और स्कूल के छात्र
- वरिष्ठ नागरिक और पेंशनभोगी
📢 यह फैसला RBI और सरकार की योजनाओं के अनुरूप है
सरकार और RBI लगातार "Financial Inclusion" को बढ़ावा दे रहे हैं। केनरा बैंक का यह निर्णय उसी दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
📝 क्या आप भी Zero Balance Account खोल सकते हैं?
हाँ, बिल्कुल! इसके लिए नीचे दिए दस्तावेज़ों की जरूरत होगी:
- आधार कार्ड
- पैन कार्ड / वोटर आईडी
- पासपोर्ट साइज फोटो
- पता प्रमाण (बिजली बिल, राशन कार्ड आदि)
👉 खाता खोलने के लिए आप नजदीकी शाखा जा सकते हैं या ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।
🗨️ लोगों की प्रतिक्रियाएं
"अब मैं अपने बच्चे के नाम पर खाता खोल सकती हूं, किसी दंड का डर नहीं!" – अमृता देवी, बिहार
"पहले हर महीने जुर्माने का डर रहता था, अब सुकून मिला है।" – राकेश मिश्रा, लखनऊ
❓FAQs: बार-बार पूछे जाने वाले सवाल
Q1: क्या पुराने ग्राहकों को भी यह लाभ मिलेगा?
हाँ, यह नियम सभी मौजूदा और नए खाताधारकों पर लागू है।
Q2: क्या जीरो बैलेंस पर भी डेबिट कार्ड मिलेगा?
जी हाँ, डेबिट कार्ड, UPI और मोबाइल बैंकिंग की सभी सुविधाएं मिलेंगी।
Q3: क्या अन्य सेवा शुल्क अभी भी लागू रहेंगे?
हाँ, ATM शुल्क, चेकबुक शुल्क आदि अभी भी बैंक की नीति के अनुसार लागू रहेंगे।
📌 निष्कर्ष: क्या यह बैंकिंग का नया युग है?
जहां एक ओर निजी बैंक अपने नियम कठोर कर रहे हैं, वहीं केनरा बैंक ने लोगों को राहत देकर असली जनसेवा का उदाहरण प्रस्तुत किया है। अब वक्त है कि बाकी बैंक भी ऐसे ही साहसी और ग्राहकों को ध्यान में रखकर फैसले लें।
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Note :
किसी भी हेल्थ टिप्स को अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह अवश्य ले. क्योकि आपके शरीर के अनुसार क्या उचित है या कितना उचित है वो आपके डॉक्टर के अलावा कोई बेहतर नहीं जानता